भगवान यह नही पुछेगा कि हम कौन सी
ब्रान्ड की कार Use करते थे,
पंरतु यह जरुर पुछेगा कि
कितने जरुरतवालो और अशक्त लोगो को
उनके घर तक पहुँचाने की मदद थी!
ब्रान्ड की कार Use करते थे,
पंरतु यह जरुर पुछेगा कि
कितने जरुरतवालो और अशक्त लोगो को
उनके घर तक पहुँचाने की मदद थी!
बहुत सार्थक
जवाब देंहटाएंसुन्दर ब्लॉग ....आगरा मेरे बचपन का शहर ...आभार !!
जवाब देंहटाएंबहुत सार्थक विचार. आभार आपका.
जवाब देंहटाएंआपके विचारों से सहमत
जवाब देंहटाएंबहुत सुन्दर और सार्थक विचार
जवाब देंहटाएंनेक विचार .
जवाब देंहटाएंaap ho rajpurohit smaj ke ejat ho yar..
जवाब देंहटाएंsahi baat..
जवाब देंहटाएंनिरंतर ज़रुरत है ऐसे सार्वकालिक सद- विचारों की .शुक्रिया भाई साहब आपका ब्लॉग पे आने का उत्साह बढाने का सादर नमन .
जवाब देंहटाएंbahut khub ....
जवाब देंहटाएंbahut khub ....
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